भोपालमध्य प्रदेशराज्यस्वास्थ्य

एम्स भोपाल के डॉ. केतन मेहरा ने स्पेन में आयोजित प्रतिष्ठित यूरोऑन्कोलॉजी कांग्रेस में भारत का प्रतिनिधित्व किया

भोपाल: 28 जून 2025

एम्स भोपाल के कार्यपालक निदेशक प्रो. (डॉ.) अजय सिंह के नेतृत्व में संस्थान ने चिकित्सा और अनुसंधान के क्षेत्र में उल्लेखनीय प्रगति की है। उनके मार्गदर्शन में, एम्स भोपाल के यूरोलॉजी विभाग के एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. केतन मेहरा ने अपने पेशेवर जीवन में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की। उन्हें यूरोपियन एसोसिएशन ऑफ यूरोलॉजी (EAU) द्वारा इस वर्ष स्पेन के सेविल में आयोजित वार्षिक अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन ‘यूरोऑन्को 2025’ में व्याख्यान देने के लिए आमंत्रित किया गया। यह प्रतिष्ठित अंतरराष्ट्रीय मंच यूरोलॉजिक ऑन्कोलॉजी के क्षेत्र में उभरती तकनीकों, नैदानिक चुनौतियों और नवाचारों पर चर्चा का एक अग्रणी वैश्विक मंच है। डॉ. मेहरा ने एम्स भोपाल में स्वयं द्वारा सफलतापूर्वक प्रबंधित किए गए लिंग और वृषण कैंसर (penile and testicular cancers) के दुर्लभ व जटिल मामलों को प्रस्तुत किया। उनके द्वारा की गई केस-आधारित चर्चाएं, नैदानिक दृष्टिकोण और उपचार में नवाचार को विश्वभर से आए वरिष्ठ यूरोऑन्कोलॉजिस्ट्स, शोधकर्ताओं और शैक्षणिक प्रतिनिधियों द्वारा अत्यधिक सराहना प्राप्त हुई। यूरोऑन्को कांग्रेस का आयोजन हर वर्ष यूरोपियन एसोसिएशन ऑफ यूरोलॉजी द्वारा किया जाता है, जो यूरोलॉजी के क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्य नैदानिक दिशानिर्देश तैयार करने वाली केंद्रीय संस्था है। ये दिशानिर्देश दुनिया भर के यूरोलॉजिस्ट्स के लिए रोगों के निदान, उपचार और फॉलो-अप में साक्ष्य-आधारित निर्णय लेने के लिए स्वर्ण मानक माने जाते हैं। इस प्रकार के उच्च स्तरीय मंच पर आमंत्रण डॉ. मेहरा की अकादमिक और नैदानिक उत्कृष्टता का प्रमाण है, साथ ही यह एम्स भोपाल में किए जा रहे जटिल और दुर्लभ यूरोलॉजिक कैंसर के उपचार कार्यों को वैश्विक मान्यता भी प्रदान करता है। उनका यह प्रतिनिधित्व न केवल भारतीय यूरोलॉजी समुदाय के लिए गर्व का क्षण है, बल्कि वैश्विक शैक्षणिक परिप्रेक्ष्य में एम्स भोपाल की बढ़ती प्रतिष्ठा को भी रेखांकित करता है।

इस उपलब्धि पर प्रो. (डॉ.) अजय सिंह ने डॉ. मेहरा को बधाई देते हुए कहा, “डॉ. केतन मेहरा की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्राप्त मान्यता हम सभी के लिए गर्व की बात है। उनका योगदान एम्स भोपाल की अकादमिक और क्लीनिकल उत्कृष्टता को दर्शाता है। इस प्रकार की वैश्विक सहभागिता भारत की उन्नत चिकित्सा अनुसंधान और रोगी देखभाल को मजबूत करती है तथा संस्थान के अन्य सदस्यों को भी इसी प्रकार की उपलब्धियों के लिए प्रेरित करती है।” डॉ. मेहरा की यूरोऑन्को 2025 में भागीदारी न केवल भारतीय चिकित्सा संस्थानों की बढ़ती वैश्विक भागीदारी को दर्शाती है, बल्कि आने वाले वर्षों में और अधिक अंतरराष्ट्रीय सहयोग के लिए मार्ग भी प्रशस्त करती है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button
error: Content is protected !!